👏 गोहार 👏
अंतस हा हमर रो रो के
पारत हे तोला गोहार,
छत्तीसगढ़िया के विनती घलो
सुनले गा मोर सरकार,
परदेशी बाबू ला राज देके
झन कर अत्याचार,
हमला तो अईसने पेरत हे
ये महँगाई के मार,
एके झन तो हावस तैहा
गरीब के देखवार,
झन बन छत्तीसगढ़िया के बैरी
हमन हो जबो दूसवार,
परदेशी ला जादा दरजा देके
झन कर तै भ्रष्टाचार,
झन रोवा तै हम गरीब ला
मात जही हाहाकार,
आगी के दरिया ये हमर आँसू
जला दिही संसार,
अपन कहानी ला बतावत हन
सुनले मोर पुकार,
भले लागत होही ये तोला
छत्तीसगढ़िया के ललकार
✏श्रवण छत्तीसगढ़िया
गांव-बरगा थानखम्हरिया(छ. ग.)
मोबा. 8085104647
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